August 7, 2025
देश दुनिया

Afganistan में रोजा नहीं रखने पर संपत्ति जब्त का प्रावधान

पार्क में जाने की महिलाओं को मनाही

तालिबान के सर्वोच्च नेता अखुंदजादा के 2022 में जारी फरमान को अब अफगानिस्तान में कानूनी रूप मिल गया है. तालिबान सरकार का कहना है कि ये नए कानून गैजेट में छप कर लागू भी गए हैं. इस्लामिक शरीयत के हिसाब से बने इन कानूनों को लागू करने का जिम्मा नैतिकता मंत्रालय के पास होगा. इन कानूनों के मुताबिक अब कहीं भी यहां तक कि कार के अंदर भी संगीत नहीं बजाया जा सकेगा. किसी पुरुष के साथ के बिना महिलाएं यात्रा नहीं कर सकेंगी और मीडिया को भी शरीयत मानना होगा. अफगानिस्तान में किसी भी जीवित प्राणियों की तस्वीरें न ली जा सकेंगी और न ही छापी जा सकेंगी. यहां छठी कक्षा से आगे लड़कियों की पढ़ाई पहले ही प्रतिबंधित है और अब इसे कड़ाई से लागू किया जाएगा. महिलाओं को पार्क या ऐसी किसी भी सार्वजनिक जगहों पर जाने की मनाही भी सख्त होगी. नए कानूनों के दायरे में पुरुषों के लिए भी सजाएं तय हैं. नमाज छोड़ने
और रोजा न रखने पर पुरुषों पर कार्रवाई का प्रावधान है. सलाह देने के बाद सजा देने, संपत्ति जब्त करने और जेल में रखने जैसी कार्रवाई के लिए नैतिकता मंत्रालय जिम्मेदार होगा और वही सजा तय करेगा.
पिछले साल 13,000 से अधिक ऐसे लोगों को हिरासत में लिया गया जो तालिबानी आदेशों का पालन नहीं कर रहे थे. 2021 में सत्ता में आई तालिबान सरकार को अफगानिस्तान की वैध सरकार बतौर कहीं से भी आधिकारिक मान्यता नहीं मिली है फिर भी रूस, ईरान और यूएई जैसे कुछ देशों की काबुल में राजनयिक उपस्थिति मौजूद है. तालिबान का कहना है कि वे इस्लामिक कानूनों का पालन करवाना उनका आंतरिक मामला है और इस पर किसी दूसरे देश को टिप्पणी देने की जरुरत नहीं है.