Advisory में रक्षा मंत्रालय ने कहा संयम बरते मीडिया
सैन्य कर्मियों ही नहीं उनके परिवारों तक पहुंच कर व्यक्तिगत मुद्दों पर बात करने से भी बचने को कहा
मीडिया के स्वनियंत्रण न रख पाने के चलते आखिर सैन्य अधिकारियों और उनके परिवारों को लेकर सरकार को एडवाइजरी ही जारी करनी पड़ गई. इसमें कहा गया है कि सैनिकों और उनके परिवारों की गोपनीयता का सम्मान करें. सैन्य अधिकारियों के पते छापने और उनके परिवारों के इंटरव्यू करने से बचने को भी इस एडवाइजरी में शामिल किया गया है. रक्षा मंत्रालय का कहना है कि जब तक आधिकारिक इनविटेशन या इजाजत न हो, तब तक किसी सैनिक के आवासीय पते, परिवार के सदस्यों के निजी निजी ब्योरे वगैरह देने से बचना चाहिए. रक्षा मंत्रालय के एडीजी, एमएंडसी विजस कुमार के साइन के साथ जारी इस एडवाइजरी में कहा गया है कि ऑपरेशन सिंदूर के समय व उसके बाद सैन्य गतिविधियों की जानकारी देने जो सैन्य अफसर मीडिया के सामने आए उनके परिवार के लोगों और निजी जिंदगी तक कवरेज का पहुंच जाना चिंता की बात है. मीडियाकर्मी इनके आवास पर जाकर परिवार के सदस्यों से संपर्क साधते हुए व्यक्तिगत मुद्दों तक पर कवरेज कर रहे हैं.
इससे पहले पुणे यूनिवर्सिटी में ‘भविष्य के युद्ध’ विषय पर बोलते हुए सीडीएस जनरल अनिल चौहान ने कहा कि पाकिस्तान की योजना भारतीय सेना ने महज 8 घंटे में ही फेल कर दी. उन्होंने कहा कि अब भारत न्यूक्लियर ब्लैकमेलिंग से डरने वाला नहीं है.