June 21, 2025
तीज त्यौहार

Ganga Dussehra 16 जून: गंगा के अवतरण का विशेष दिवस

गंगा दशहरा का पर्व है ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी को इसलिए मनाया जाता है क्शेंकि इसी दिन भगीरथ के तप और आग्रह के चलते गंगा का पृथ्वी पर अवतरण हुआ था. जब ब्रम्हा ने भगीरथ की भागीरथी को पृथ्वी पर अवतरित करने की बात मान ली तो प्रश्न यह उठा कि गंगा का जो प्रवाह है वह तो पृथ्वी पर तबाही ला देगा, इसके बाद शिवजी से यह आग्रह किया गया कि वे मध्य में आएं और गंगा के प्रवाह को पृथ्वी के सह लेने लायक बनाएं. शिवजी ने अपनी जटाओं में गंगा को स्थान दिया और तब जाकर गंगा का वह वेग पृथ्वी पर इस स्वरूप में उतरा. गंगा दशहरा इसी गंगा अवतरण दिवस के रूप में मनाया जाता है और यही वजह है कि गंगा से जुड़े तीर्थें जैसे वाराणसी, प्रयागराज आदि जगहों पर इस दिन श्रद्धालुओं बड़ी संख्या में पहुंचकर गंगा स्नान का पुण्य लाभ लेते हैं. जो लोग गंगा स्नान के लिए नहीं पहुंच पाए हैं वे भी गंगा स्नान के फल का लाभ किस तरह ले सकते हैं? इसका एक तरीका यह भी बताया जाता है कि आप स्नान से पहले स्नान के पानी में थोड़ी मात्रा में गंगाजल मिला लें और फिर गंगा का स्मरण करते हुए गंगा स्त्रोत का पाठ करते हुए इस भाव के साथ स्नान करें कि आप मां गंगा की गोद में ही हैं. 16 जून को मनाए जाने वाले गंगा दशहरा पर्व के कुछ विशिष्ट मुहूर्त इस प्रकार हैं.

 गंगा दशहरा: 16 जून 2024

– दशमी तिथि का प्रारंभ: 15 जून शाम 05:02

– निर्जला एकादशी प्रारंभ (दशमी समापन):  16 जून 7.04 शाम

-हस्ति नक्षत्र समापन : 16 जून 01:43 दोपहर